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◼️ हर नशा आवर चीज़ हराम है और हर तरह की शराब हराम है ।
📕 मुस्लिम, जिल्द 2, सफह 168
◻️ जिस चीज़ की कसरत नशा दे उसका थोड़ा हिस्सा भी हराम है अगर चे उतने से नशा ना हो ।
📕 अत्तमहीद, जिल्द 1, सफह 252
◼️ जो दुनिया में शराब पीता है वो जन्नत में उससे महरूम रहेगा ।
📕 बुखारी, जिल्द 2, सफह 836
बेशक जन्नत में शराब होगी मगर ऐसी नहीं जैसी कि हम दुनिया में देखते हैं कि इधर हलक से नीचे उतरी और उधर आदमी इंसान से जानवर बना नहीं बल्कि वहां की शराब के बारे में खुद मौला फरमाता है ~
उन पर दौरा होगा निगाह के सामने बहती शराब के जाम का.सफ़ेद रंग पीने वालों के लिए लज़्ज़त.ना उसमे खुमार है और ना उससे उनका सर फिरे ।
📕 पारा 23, सूरह सफ्फात, आयत 45--47
वो जाम जिसमे ना बेहूदगी है और ना गुनहगारी ।
📕 पारा 27, सरह तूर, आयत 23
और उन्हें उनके रब ने सुथरी शराब पिलाई ।
📕 पारा 29, सूरह दहर, आयत 21
ये होगी जन्नत की शराब जिसके पीने से ना तो नशा होगा और ना पेट में दर्द होगा ना इंसान बहकेगा और ना गाली गलौच की नौबत आयेगी बल्कि इसके पीने से मुश्क की तरह खुश्बूदार पसीना निकलेगा,आईये अब दुनिया की शराब पर वापस लौटते हैं ।
◼️ शराब का आदी बुत परस्त की तरह है ।
📕 मुसनद अहमद, जिल्द 1, सफह 272
◻️ तीन आदमी जन्नत में नहीं जायेंगे~
1). मां-बाप का नाफरमान
2). आदी शराबी
3). दय्यूस यानि वो मर्द जिसकी बीवी बेपर्दा घूमती हो और ये मना ना करता हो।
📕 मजमउज़ ज़वायेद, जिल्द 4, सफह 327
📕 निसाई, जिल्द 2, सफह 331
◼️ जो शराब पीता है मौला उसका कोई अमल कुबूल नहीं करता ना नमाज़ और ना कोई दुआ ।
📕 कंज़ुल उम्माल, जिल्द 5, सफह 365
◻️ चोर जब चोरी करता है तो वो मोमिन नहीं रहता, ज़ानी जब ज़िना करता है तो वो मोमिन नहीं रहता, शराबी जब शराब पीता है तो वो मोमिन नहीं रहता ।
📕 बुखारी, जिल्द 2, सफह 1001
यानि अगर ये काम जायज़ समझकर किया तो ईमान से महरूम हो जाता है ।
◼️ हुज़ूर सल्लल्लाहु तआला अलैहि वसल्लम इरशाद फरमाते हैं कि मेरे रब ने अपनी इज़्ज़त की कसम खाई है कि जो कोई दुनिया में जितने घूंट शराब का पीयेगा तो मैं उसे उतना ही जहन्नम का खौलता पानी पिलाऊंगा ।
📕 तिब्रानी, जिल्द 8, सफह 232
अगर ये पानी "हमीम" होगा तो इसके बारे में आता है जैसे ही ये मुंह के करीब आयेगा इंसान के चेहरे की खाल
गल कर इसमें गिर जायेगी और जब वो इसे पियेगा तो वो पानी आंत को काटता हुआ पीछे के मक़ाम से निकल जायेगा और अगर ये पानी "गस्साक" होगा तो इसके बारे में आता है कि अगर इसका एक डोल दुनिया में डाल दिया जाए तो पूरी दुनिया वाले सड़ जायें,बहरहाल जहन्नम और जहन्नम की तमाम चीज़ें बेहद तकलीफ देह है मौला अपने हबीब के सदक़े में तमाम मुसलमानो को एक आन के लिए भी जहन्नम में दाखिल ना करे । - आमीन
◼️ शराब पीने वाले, पिलाने, बनाने वाले, बेचने वाले, ले जाने वाले, उसकी कीमत खाने वाले सब पर अल्लाह की लानत है ।
📕 अलमुस्तदरक, जिल्द 4, सफह 145
◻️ शराबी को सलाम ना करो और जब वो बीमार हो जाए तो उसकी इयादत ना करो ।
📕 बुखारी, जिल्द 2, सफह 925
◼️ हुज़ूर सल्लल्लाहु तआला अलैहि वसल्लम इरशाद फरमाते हैं कि बेशक अल्लाह ने उस चीज़ मे शिफा नहीं रखी है जो मेरी उम्मत पर हराम की गई हो ।
📕 तफसीरे क़ुरतबी, जिल्द 2, सफह 231
◻️ शराब से बचो कि ये तमाम बुराइयों की जड़ है ।
📕 कशफुल खिफा, जिल्द 1, सफह 459
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🖌️पोस्ट क्रेडिट ~ नौशाद अहमद ज़ेब रज़वी (ज़ेब न्यूज़)
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https://MjrMsg.blogspot.com/p/sharab-noshi-hindi.html
◼️ हर नशा आवर चीज़ हराम है और हर तरह की शराब हराम है ।
📕 मुस्लिम, जिल्द 2, सफह 168
◻️ जिस चीज़ की कसरत नशा दे उसका थोड़ा हिस्सा भी हराम है अगर चे उतने से नशा ना हो ।
📕 अत्तमहीद, जिल्द 1, सफह 252
◼️ जो दुनिया में शराब पीता है वो जन्नत में उससे महरूम रहेगा ।
📕 बुखारी, जिल्द 2, सफह 836
बेशक जन्नत में शराब होगी मगर ऐसी नहीं जैसी कि हम दुनिया में देखते हैं कि इधर हलक से नीचे उतरी और उधर आदमी इंसान से जानवर बना नहीं बल्कि वहां की शराब के बारे में खुद मौला फरमाता है ~
उन पर दौरा होगा निगाह के सामने बहती शराब के जाम का.सफ़ेद रंग पीने वालों के लिए लज़्ज़त.ना उसमे खुमार है और ना उससे उनका सर फिरे ।
📕 पारा 23, सूरह सफ्फात, आयत 45--47
वो जाम जिसमे ना बेहूदगी है और ना गुनहगारी ।
📕 पारा 27, सरह तूर, आयत 23
और उन्हें उनके रब ने सुथरी शराब पिलाई ।
📕 पारा 29, सूरह दहर, आयत 21
ये होगी जन्नत की शराब जिसके पीने से ना तो नशा होगा और ना पेट में दर्द होगा ना इंसान बहकेगा और ना गाली गलौच की नौबत आयेगी बल्कि इसके पीने से मुश्क की तरह खुश्बूदार पसीना निकलेगा,आईये अब दुनिया की शराब पर वापस लौटते हैं ।
◼️ शराब का आदी बुत परस्त की तरह है ।
📕 मुसनद अहमद, जिल्द 1, सफह 272
◻️ तीन आदमी जन्नत में नहीं जायेंगे~
1). मां-बाप का नाफरमान
2). आदी शराबी
3). दय्यूस यानि वो मर्द जिसकी बीवी बेपर्दा घूमती हो और ये मना ना करता हो।
📕 मजमउज़ ज़वायेद, जिल्द 4, सफह 327
📕 निसाई, जिल्द 2, सफह 331
◼️ जो शराब पीता है मौला उसका कोई अमल कुबूल नहीं करता ना नमाज़ और ना कोई दुआ ।
📕 कंज़ुल उम्माल, जिल्द 5, सफह 365
◻️ चोर जब चोरी करता है तो वो मोमिन नहीं रहता, ज़ानी जब ज़िना करता है तो वो मोमिन नहीं रहता, शराबी जब शराब पीता है तो वो मोमिन नहीं रहता ।
📕 बुखारी, जिल्द 2, सफह 1001
यानि अगर ये काम जायज़ समझकर किया तो ईमान से महरूम हो जाता है ।
◼️ हुज़ूर सल्लल्लाहु तआला अलैहि वसल्लम इरशाद फरमाते हैं कि मेरे रब ने अपनी इज़्ज़त की कसम खाई है कि जो कोई दुनिया में जितने घूंट शराब का पीयेगा तो मैं उसे उतना ही जहन्नम का खौलता पानी पिलाऊंगा ।
📕 तिब्रानी, जिल्द 8, सफह 232
अगर ये पानी "हमीम" होगा तो इसके बारे में आता है जैसे ही ये मुंह के करीब आयेगा इंसान के चेहरे की खाल
गल कर इसमें गिर जायेगी और जब वो इसे पियेगा तो वो पानी आंत को काटता हुआ पीछे के मक़ाम से निकल जायेगा और अगर ये पानी "गस्साक" होगा तो इसके बारे में आता है कि अगर इसका एक डोल दुनिया में डाल दिया जाए तो पूरी दुनिया वाले सड़ जायें,बहरहाल जहन्नम और जहन्नम की तमाम चीज़ें बेहद तकलीफ देह है मौला अपने हबीब के सदक़े में तमाम मुसलमानो को एक आन के लिए भी जहन्नम में दाखिल ना करे । - आमीन
◼️ शराब पीने वाले, पिलाने, बनाने वाले, बेचने वाले, ले जाने वाले, उसकी कीमत खाने वाले सब पर अल्लाह की लानत है ।
📕 अलमुस्तदरक, जिल्द 4, सफह 145
◻️ शराबी को सलाम ना करो और जब वो बीमार हो जाए तो उसकी इयादत ना करो ।
📕 बुखारी, जिल्द 2, सफह 925
◼️ हुज़ूर सल्लल्लाहु तआला अलैहि वसल्लम इरशाद फरमाते हैं कि बेशक अल्लाह ने उस चीज़ मे शिफा नहीं रखी है जो मेरी उम्मत पर हराम की गई हो ।
📕 तफसीरे क़ुरतबी, जिल्द 2, सफह 231
◻️ शराब से बचो कि ये तमाम बुराइयों की जड़ है ।
📕 कशफुल खिफा, जिल्द 1, सफह 459
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🖌️पोस्ट क्रेडिट ~ नौशाद अहमद ज़ेब रज़वी (ज़ेब न्यूज़)
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