देवबन्दी जमाअत के इमामे अव्वल मौलवी इस्माइल साहब लिखते हैं ........

(3). जो कोई यह दावा करे कि मेरे पास ऐसा कुछ इल्म है कि जब मैं चाहूं इस से गैब की बात मालूम कर लूं और आइन्दा बातों को मालूम कर लेना मेरे काबू में है सो वह बङा झूठा है कि दावा खुदाई का करता है और जो कोई किसी नबी वली या जिन व फरिश्ता को इमाम या इमामज़ादे या पीर व शहीद नुजूमी रुम्माल या जफ्फ़ारको या फ़ाल देखने वाले को या ब्राहमण इश्टी को या भूत व परी को ऐसा जाने और उसके हक़ में यह अकीदा रखे सो वह मुश्रिक हो जाता है।
#(तकवियतुल ईमान, सफा : 29)

(4). और इस बात में (यानी ग़ैब की बात न जानने में) औलिया अम्बिया और जिन व शैतान और भूत व परी में कुछ फ़र्क़ नहीं।
#(तकवियतुल ईमान, सफा : 8)


★मआजल्लाह★

📕 ज़लज़ला, सफ़हा न०-11

🖌️पोस्ट क्रेडिट ~ एस-अली।औवैसी

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